जम्मू-कश्मीर में इस साल नहीं होंगे चुनाव; इलेक्शन कमीशन ने दिए ये संकेत
वोटर लिस्ट को अंतिम रूप देने का समय एक महीने बढ़ा दिया गया है यानी अब लिस्ट 30 अक्तूबर के बजाय 25 नवंबर को आएगी.
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Jammu and Kashmir Election: जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) में इस साल चुनाव के आसार लगभग खत्म ही हो गए हैं. क्योंकि अब वोटर लिस्ट को अंतिम रूप देने का वक्त एक महीने आगे बढ़ा दिया गया है यानी अब लिस्ट 30 अक्तूबर को नहीं बल्कि 25 नवंबर को आएगी. तो ज़ाहिर है कि इसके बाद एक महीने में चुनाव करा पाना मुश्किल होगा.
कश्मीर डिवीज़न के लिए 1 अतिरिक्त सीट
केंद्र सरकार ने मई में एक नोटिफिकेशन जारी किया था. जिसमें कहा गया था कि परिसीमन आयोग का आदेश 20 मई से लागू होगा। परिसीमन आयोग ने केंद्रशासित प्रदेश में निर्वाचन क्षेत्रों की संख्या फिर से तय करते हुए जम्मू डिवीज़न के लिए विधानसभा की 6 अतिरिक्त सीट और कश्मीर डिवीज़न के लिए 1 अतिरिक्त सीट का इंतज़ाम किया था।
15 सितंबर से 25 अक्टूबर तक दर्ज कराई जा सकती हैं आपत्तियां
निर्वाचन आयोग (EC) द्वारा तय की गई नयी समयसीमा के मुताबिक, एक एकीकृत मसौदा वोटर लिस्ट 15 सितंबर को ज़ाहिर की जाएगी. दावे और आपत्तियां दर्ज करने की अवधि 15 सितंबर से 25 अक्टूबर के बीच तय की गई है, इसके बाद 10 नवंबर को दावों और आपत्तियों का निपटारा किया जाएगा
मनोज सिन्हा का आश्वासन
जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा (Manoj Sinha) ने यक़ीन दिलाया था कि जम्मू-कश्मीर में मतदाता सूची में हो रहे बदलाव के बाद विधानसभा चुनाव होगा. हालांकि, राजनीतिक अधिकारियों का मानना है कि कश्मीर घाटी और चिनाब इलाके में कड़ाके की ठंड खत्म होने के बाद चुनाव को अगले साल तक टाला जा सकता है.
संशोधन के पूरा होने के बाद विधानसभा चुनाव होगा
जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम 2019 के तहत स्थापित परिसीमन आयोग के आदेश के मुताबिक, जम्मू-कश्मीर में 90 विधानसभा क्षेत्र होंगे. इनमें जम्मू डिवीज़न में 43 और कश्मीर घाटी में 47 विधानसभा सीट होंगी. इनमें से 9 सीट अनुसूचित जनजाति के लिए रिज़र्व होंगी।