Ladakh News: लद्दाखियों की आज होने वाले भूख हड़ताल टाला, केंद्र राज्य का दर्जा देने पर चर्चा के लिए सहमत

Written By Last Updated: Feb 20, 2024, 12:35 PM IST

Ladakh News:लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा और संविधान की छठी अनुसूची में शामिल करने की मांग पर विचार के लिए केंद्र सरकार तैयार हो गई है। बता दें , नई दिल्ली में गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय संग लद्दाख के प्रतिनिधियों की बैठक में इस बात  को लेकर गठन कर इस बात का फैसला लिया गया है. उप समिति 24 फरवरी को सरकार से  अपने मांगो को लेकर बातचीत करेगी.लद्दाखियों ने 20 फरवरी यानि की आजसे होने वाली भूख हड़ताल को टाल दिया है. गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय की अध्यक्षता में केंद्र सरकार ने एक समिती गठन किया था. जिसमें इस पर फैसला लिया गया और  बताया  इस समिति में कारगिल और लेह के कुल 14 सदस्य शामिल हैं. जिनको लेकर पर बैठक बुलाई गई थी. बैठक में  के बाद लेह की सर्वोच्च समिति और कारगिल डेमोक्रेटिक अलायंस ने संयक्त बयान में बताया कि केंद्र सरकार हमारी प्रमुख मांगें पूर्ण राज्य का दर्जा, लद्दाख को छठी अनुसूची में शामिल करने और लद्दाख के लिए अलग लोक सेवा आयोग के गठन संबंधि मांगों पर विचार के लिए तैयार हो गया है. सारे कमेटी में लद्दाख के पूर्व सांसद थुप्स्तन छिवांग, छिवांग दोरजे, नवांग रिगजिन जोरा और कारगिल डेमोक्रेटिक अलायंस के कमर अली अखून, असगर अली करबलई और सज्जाद कारगिली शामिल हैं.

भूख हड़ताल का फैसला रद्द
एबीएल और केडीए ने मीडिया से बातचीत  में कहा हमारी मुख्य मांगों पर चर्चा करने का निर्णय लिया गया जिनमें लद्दाख के लिए राज्य का दर्जा, इसे संविधान की छठवीं अनुसूची में शामिल करना और 24 फरवरी को लद्दाख के लिए विशेष लोक सेवा आयोग के गठन की मांग शामिल है. बता दे लद्दाखएक लोकसभा क्षेत्र है. लद्दाख में कोई विधानसभा क्षेत्र नहीं है और पहले यह जम्मू-कश्मीर राज्य का हिस्सा था.

जम्मू-कश्मीर को अलग दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 केतहत 5 अगस्त, 2019 को निरस्त कर दिया गया था  जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के रूप में दो केंद्र-शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया गया था.