Eye-friendly Ingredients: ये तीन चीज खाऐंगे तो आंखें नहीं होंगी कमजोर... छूटेगा चश्मा, तेज होगी नजर!

Written By Last Updated: Sep 01, 2023, 07:27 PM IST

Fruits to Improve the Vision: आमतौर पर हम अपने बढ़ते हुए कोलेस्ट्रॉल, मोटापा और डायबिटीज जैसी प्रॉब्लम्स पर तो ध्यान देते हैं, लेकिन ऐसा बेहद ही कम होता है जब हम अपनी आंखों और उनकी की हेल्थ पर भई ध्यान देते हों. दरअसल, जिस तरह से हम दूसरी बीमारियों से बचने के लिए डाइट लेते हैं और तरह तरह के उपाय करते हैं, उसी तरह हमारी आंखों और उनकी सेहत का भी ख्याल रखना काफी जरूरी हो जाता है. अगर वक्त रहते आखों की सेहत पर जरूरी ध्यान ना दिया जाए तो वे वक्त से पहले या समय के साथ कमजोर होती चली जाती हैं. 

ऐसे में अब जिन लोगों को अपनी आंखों की सेहत का ख्याल आया है, तो उनके दिमाग में आंखों की सुरक्षा को लेकर क्या करना चाहिए, क्या खाना चाहिए ऐसे भी सवाल आना लाज़मी है. तो चलिए पता करते हैं इन सवालों के जवाब. दरअसल, विशेषज्ञों के मुताबिक आंखों की बेहतर हेल्थ के लिए हमें गुलाबी, नारंगी और लाल रंग के फल और सब्जियां का सेवन करना चाहिए. वहीं मशहूर न्यूट्रिशनिस्ट डेल पिन्नॉक ने एक इंचरव्यू में बताया, 'अच्छा पोषण हमारे पूरे शरीर को सही तरीके से काम करने में मदद करता है. आंखों की हेल्थ भी हमारे स्वास्थ्य का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसे लोग अक्सर प्राथमिकता नहीं देते.' इसके अलावा आंख की रोशनी को बरकरार रखने और उसे सुधारने और आने वाली प्रॉब्लम्स  को अवॉइड करने के लिए डेल पिन्नॉक ने डाइट में शामिल करने लायक कुछ चीजें बताई हैं, जिनपर हमें ध्यान देना चाहिए.

1. टमाटर

टमाटर एंटीऑक्सीडेंट का एक बेहतरीन सोर्स है. इसमें पाया जाने वाला एंटीऑक्सीडेंट- लाइकोपाइन मोतियाबिंद के बढ़ने पर कंट्रोल करता है और उसे बहुत हद तक कम करने में भी मदद करता है. इसलिए हमें अपनी डाइट में टमाटर स्पेशली शामिल करना चाहिए, इससे न केवल आंखें ठीक रहेंगी बल्कि हमारी ओवरऑल हेल्थ में भी सुधार आएगा. 

2. नारंगी सब्जियां

बीटा कैरोटीन नामक एंटीऑक्सीडेंट फाइटोकेमिकल की मौजूदगी की वजह से नारंगी रंग हासिल करने वाली नारंगी मिर्च और शकरकंद दोनों ही सब्जियां हमारी आंखों के लिए बेहद जरूरी हैं. हमारा शरीर बीटा कैरोटीन को विटामिन ए में परिवर्तित कर उसे हमारी आंखों की बेहतरीन सेहत के लिए उत्तरदायी बनाता है. कई हेल्थ विशेषज्ञों के मुताबिक, बीटा कैरोटीन मोतियाबिंद,  एएमडी और डायबिटिक रेटिनोपैथी के आने वाले जोखिमों को भी कम कर सकता है.

3. सैल्मन

अपने बेहतरीन स्वाद और फैट से भरपूर सैल्मन मछली में प्रोटीन की काफी अच्छी मात्रा पाई जाती है. इसके साथ-साथ सैल्मन मछली में ओमेगा -3 फैटी एसिड और एस्टैक्सैन्थिन भी पाए जाते हैं. जिनकी मदद से उम्र से जुड़ी मैक्यूलर डीजेनरेशन (एएमडी) और ग्लूकोमा जैसी आंखों की परेशानियों के जोखिम को कम किया जा सकता है. अगर किसी कारण से आपको सैल्मन का स्वाद पसंद नहीं है तो ट्राउट और झींगे भी एस्टैक्सैन्थिन के बेहतरीन सोर्स में से एक हैं. इसके अलावा सार्डिन, मैकेरल, चिया सीड्स और अखरोट में भी ओमेगा 3  पाया जाता है.

क्या करना चाहिए ?

खाने को छोड़कर, आंखों की सेहत का ख्याल रखने के लिए, हमें दूसरी बहुत सी जरूरी चीजों का ख्याल रखा चाहिए. जिनमें पर्याप्त नीदं, रेग्यूलर एक्सरसाइज, और हर 2 साल में एक बार आंखों की जांच कराना भी शामिल है. ऐसा करने से आपके शरीर और आपकी आंखों में होने वाले छोटे से छोटे बदलाव का समय से पता लगाया जा सकेगा. ऐसे में कुछ भी गलत पाए जाने पर वक्त रहते उसका इलाज भी किया जा सकता है.